पति परमेश्वर
प्रत्येक पुरुष में एक स्त्री छुपी होती है इसीलिए संत अक्सर कहते है कि
ईश्वर हमारे पति है और हम सब उनकी पत्नियाँ |
पति ही परमेश्वर है, इसका अर्थ अक्सर हम लोग गलत लगाते है |इसका अर्थ यह नहीं है कि पति परमेश्वर है बल्कि जो परमेश्वर है, वे ही हमारे पति है | इसलिए ईश्वर को जगतपति कहा जाता
है | यह सारी सृष्टि योनियो से भरी पड़ी है| प्रत्येक पुरुष भी एक योनी है , लिंग
रूप तो केवल भगवान शिव ही है| हम सभी मनुष्य है और मनुष्य भी एक योनी है |
जितने भी पेड-पौधे और पशु-पक्षी है, वह भी एक योनी है कोई भी योनी से मुक्त नहीं है
| योनियो से तो एकमात्र शिव ही मुक्त है, इसलिए शिव को अजन्मा कहा जाता है | भगवान
शिव लिंग रूप है और वे ही जगतपति है , वे ही पशुपति और वे ही जगतनाथ है |
प्रत्येक पुरुष में एक स्त्री छुपी होती है इसीलिए संत अक्सर कहते है कि
ईश्वर हमारे पति है और हम सब उनकी पत्नियाँ |
पति ही परमेश्वर है, इसका अर्थ अक्सर हम लोग गलत लगाते है |इसका अर्थ यह नहीं है कि पति परमेश्वर है बल्कि जो परमेश्वर है, वे ही हमारे पति है | इसलिए ईश्वर को जगतपति कहा जाता
है | यह सारी सृष्टि योनियो से भरी पड़ी है| प्रत्येक पुरुष भी एक योनी है , लिंग
रूप तो केवल भगवान शिव ही है| हम सभी मनुष्य है और मनुष्य भी एक योनी है |
जितने भी पेड-पौधे और पशु-पक्षी है, वह भी एक योनी है कोई भी योनी से मुक्त नहीं है
| योनियो से तो एकमात्र शिव ही मुक्त है, इसलिए शिव को अजन्मा कहा जाता है | भगवान
शिव लिंग रूप है और वे ही जगतपति है , वे ही पशुपति और वे ही जगतनाथ है |
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